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Corea

2018 जलवायु परिवर्तन का सामना करने के विषय पर ASEZ टॉक कन्सर्ट

  • País | कोरिया
  • Fecha | Noviembre 22, 2018
ⓒ 2018 WATV

अक्टूबर में, आपदा जोखिम में कटौती के लिए संयुक्त राष्ट्र कार्यालय(UNISDR) की प्रमुख, मामी मिजूटोरी ने एक रिपोर्ट में कहा, “चरम मौसम की घटनाओं से होने वाला आर्थिक नुकसान अरक्षणीय है।” इसलिए विशेषज्ञ जोर देते हैं कि अंतरराष्ट्रीय समुदाय को पर्यावरणीय समस्याओं का सामना करने में एकसाथ सक्रिय रूप से भाग लेना चाहिए।

22 नवंबर को, चर्च ऑफ गॉड ने वैश्विक ध्यान आकर्षित करने और भविष्य की पीढ़ी के नेता, विश्वविद्यालय के छात्रों के रचनात्मक दृष्टिकोण और राय साझा करने के लिए कोरिया में नई यरूशलेम फानग्यो मंदिर के सेमिनार कक्ष में ‘2018 जलवायु परिवर्तन का सामना करने के विषय पर ASEZ टॉक कन्सर्ट’ आयोजित किया। पेरू के सुप्रीम कोर्ट का न्यायाधीश डबरली अपोलिनर रोड्रिगेज टिनेओ, जिन्होंने परू में आयोजित ASEZ अंतरराष्ट्रीय फोरम में भाग लिया था, वह कार्यक्रम में व्याख्यान-दाता के रूप में कोरिया आया। कोरिया, अमेरिका, दक्षिण अफ्रीका, फिलीपींस, और पेरू से चर्च ऑफ गॉड वर्ल्ड मिशन सोसाइटी विश्वविद्यालय छात्र स्वयंसेवा दल ASEZ के लगभग 600 सदस्यों ने टॉक कन्सर्ट में भाग लिया।

कार्यक्रम की शुरुआत में, प्रधान पादरी किम जू चिअल ने प्रार्थना की कि उन छात्रों पर आशीषें उंदेली जाएं जो पृथ्वी को मूल स्थिति में, जैसी वह परमेश्वर की सृष्टि के समय सुंदर थी, बहाल करने का प्रयास कर रहे हैं। उन्होंने अपने उद्घाटन भाषण के द्वारा उन्हें प्रोत्साहित किया, “2,000 वर्ष पहले एक मनुष्य, यीशु मसीह के बलिदान के द्वारा उद्धार का मार्ग खोला गया था। हर एक विश्वविद्यालय के छात्र के कार्य जिसके पास परमेश्वर द्वारा दिए गए जोश, बुद्धिमानी और मानवजाति के प्रति प्रेम हैं, संसार को आशावादी और सुंदर बनाएंगे।”

टॉक कन्सर्ट का विषय जलवायु परिवर्तन का सामना करने पर विश्वविद्यालय के छात्रों की भूमिका था। पेरू के सुप्रीम कोर्ट का न्यायाधीश डबरली अपोलिनर रोड्रिगेज टिनेओ ने, जो पहले पेरू के सुप्रीम कोर्ट का मुख्य न्यायाधीश था और पर्यावरण की रक्षा के लिए अमेरिकी राज्यों के संगठन का सद्भावना राजदूत के रूप में कार्य करता है, अपने व्याख्यान के दौरान बताया कि जलवायु परिवर्तन का मुख्य कारण ग्रीनहाउस गैस है। अमेजन वर्षावन, जिसे पृथ्वी के फेफड़े कहा जाता है, तेजी से नष्ट हो रहा है और वह कम कार्बन डाइऑक्साइड को सोखता है, जिससे पृथ्वी पर अधिक नुकसान होता है। ऐसी समस्याओं को हल करने के लिए, उसने उरुग्वे और कोस्टा रिका जैसे दक्षिण अमेरिकी देशों के मामलों को समझाते हुए सुझाव दिया कि कार्बन डाइऑक्साइड उत्सर्जन को कम करने का कानून बनाया जाना चाहिए। उसने छात्रों के लिए एक विस्तृत कार्य योजना बताते हुए कहा, “आप सभी को जीवाश्म ईंधन का कम उपयोग करना चाहिए जो ग्रीनहाउस गैस का उत्सर्जन करता है, और ऐसा नेता बनना चाहिए जो नवीकरणीय ऊर्जा का अध्ययन करने और उसका उपयोग करने का प्रयास करते हैं।”

ⓒ 2018 WATV

उसके बाद, विश्वविद्यालय के छात्रों के प्रेजेंटेशन प्रस्तुत किए गए। अमेरिका, दक्षिण अफ्रीका, और पेरू से आए ASEZ के सदस्यों ने सूखा, गर्मी की लहर, और भारी बरसात जैसे जलवायु आपदाओं से जिनका अपने देश सामना करते हैं, निपटने के लिए की गईं पर्यावरण जागरूकता बढ़ाने की गतिविधियों(सेमिनार, फोरम, प्रदर्शनी, अभियान) और पर्यावरण समूहों के साथ सहयोग में की गई सफाई अभियानों का परिचय करते हुए विश्वविद्यालय के छात्रों के रूप में अपनी भूमिका तलाशी।

एक अतिरिक्त कार्यक्रम के रूप में, ASEZ की गतिविधियों का परिचय करने और जलवायु परिवर्तन की गंभीरता को पेश करने के लिए प्रदर्शनी पैनलों को प्रदर्शित किया गया था। विश्वविद्यालय के छात्रों ने जिन्होंने प्रदर्शनी के चारों ओर देखा, एक बड़े पैनल पर अभ्यास करने के लिए विचित्र विचारों को लिखा जैसे कि “कचरे को अलग-अलग करना,” “अधिक अतिरिक्त बिजली नहीं। आइए हम उपकरणों के प्लग निकालें जब वे उपयोग में न हों!” “सार्वजनिक परिवहन का उपयोग करें। मैं पैदल जाऊंगा!” “कई परतों के वस्त्र पहनें,” “पर्यावरण इंजीनियरिंग की कक्षा पर ध्यान दें,” और “पृथ्वी, मैं तुमसे प्यार करता हूं! ASEZ तुम्हारी रक्षा करेगा।”

अमेरिका के सीए में सैन डिएगो से भाई अलेक्जेंडर ने ‘मिलेनियल पीढ़ी का इशू’ शीर्षक के तहत एक प्रस्तुति दी। उसने कहा, “जिन पर्यावरण समस्याओं का हम सामना कर रहे हैं, उन्हें किसी व्यक्ति या सरकार द्वारा हल नहीं किया जा सकता। हम सभी को कार्य करना चाहिए। चूंकि जानकारी साझा करके समस्याओं को खोजना और उसका हल तलाशना महत्वपूर्ण है, इसलिए मैं एक संदेश पहुंचाना चाहता हूं कि हम विश्वविद्यालय छात्रों के लिए हमारी शक्ति इकट्ठा करने और कार्य करने का समय अब है।”

ASEZ माता के प्रेम से जो परिवार की देखभाल करती है, अंतरराष्ट्रीय पर्यावरण और मानवजाति के भविष्य के बारे में सोचते हुए सभी दिशाओं में बहुत सी गतिविधियां करता है। वह संयुक्त राष्ट्र, सरकारों और अंतरराष्ट्रीय संगठनों के साथ साझेदारी की स्थापना करने के द्वारा गतिविधियों की अपनी सीमा को विस्तारित कर रहा है। अंतरराष्ट्रीय समाज उसके अगले कदम पर ध्यान देता है।


ASEZ सदस्यों ने संयुक्त राष्ट्र मुख्यालय में अंतरराष्ट्रीय सहिष्णुता दिवस पर एक भाषण दिया
16 नवंबर अंतरराष्ट्रीय सहिष्णुता दिवस है जिसमें संयुक्त राष्ट्र ने घोषित किया। इसमें जातीयता, लिंग, राष्ट्रीयता, धर्म, और शारीरिक अक्षमता से परे एक दूसरे को समझकर और सम्मान करके शांति और सह-अस्तित्व का मार्ग खोलने का अर्थ है।

इस वर्ष, जो मानवाधिकारों की सार्वभौमिक घोषणा की 70वीं वर्षगांठ को चिन्हित करता है, अंतरराष्ट्रीय सहिष्णुता दिवस को स्मरण करने के लिए संयुक्त राष्ट्र और यूट्यूब द्वारा आयोजित ‘क्रियेटर्स फॉर चेंज’ समारोह में लगभग 100 ASEZ सदस्यों ने भाग लिया। मानवाधिकारों की सार्वभौमिक घोषणा के लिए परिचय वीडियो की एक प्रतियोगिता 15 से 24 साल के छात्रों के लिए आयोजित की गई थी, और सर्वोत्तम चार वीडियो का चयन किया गया था, और 750 विश्वविद्यालय के छात्रों को आमंत्रित किया गया था। उनमें से ASEZ के सदस्य भी सूची में थे। संयुक्तप राष्ट्रय सार्वजनिक सूचना विभाग(UN DPI), संयुक्त राष्ट्र मानवाधिकार उच्चायुक्त कार्यालय(UN OHCHR) और यूट्यूब के अधिकारी और वीडियो उत्पादकों ने भी समारोह में भाग लिया।

अमेरिका के सीए में सैन डिएगो से एक ASEZ सदस्य, बहन ऑरोरा साइनेझ ने स्वयं और अन्य सदस्यों के साथ बनाए वीडियो के द्वारा मानवाधिकारों की सार्वभौम घोषणा में भेदभाव की निषेद(अनुच्छेद 2) और स्वतंत्र रूप से काम करने के अधिकार(अनुच्छेद 23) पर प्रकाश डाला। उसने कहा, “मुझे लगता है जब हम समस्याओं को प्रकट करते हैं और लोगों को शिक्षित करते हैं, तो यह बदलाव लाएगा।” उसने प्रतिभागियों से मानव अधिकार, कल्याण और पर्यावरण में बिना भेदभाव की दुनिया बनाने के लिए ASEZ के प्रयासों का परिचय देकर इस मामले में एक साथ काम करने का आग्रह किया।
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